SCO Shikhar Sammelan 2025: china ke Tianjin mein bharat ki bhoomika

31 अगस्त से 1 सितंबर 2025 को चीन के तियानजिन में होने वाले SCO शिखर सम्मेलन में भारत, रूस और चीन की भागीदारी पर पूरी जानकारी।
SCO Shikhar Sammelan 2025:- एक बार फिर (SCO) शंघाई सहयोग संगठन का मंच “ग्लोबल साउथ” की आवाज़ के लिए तैयार है। चीन में आयोजित 25वाँ SCO शिखर सम्मेलन, जो कि 31 अगस्त से 1 सितंबर 2025 तक तियानजिन शहर में होने जा रहा है, एक ऐसे समय पर हो रहा है जब पूरी दुनिया अस्थिरताओं से घिरी है — चाहे वह इजराइल गाजा में जारी संघर्ष हो, रूस-यूक्रेन युद्ध हो या फिर ट्रम्प द्वारा चीन और भारत पर लगाए गए टैरिफ्स हों।

क्या खास है इस (SCO Shikhar Sammelan 2025)शिखर सम्मेलन में?

सभी की नजरें एक मंच पर:
SCO Shikhar Sammelan 2025: इस सम्मेलन में SCO के हर प्रमुख सदस्य देश का नेतृत्व शामिल होगा — जैसे कि भारत, रूस, पाकिस्तान, ईरान, कज़ाखस्तान, उज्बेकिस्तान, ताजिकिस्तान, किगिज़स्तान, बेलारूस और अन्य। साथ ही तुर्की, म्यांमार, इंडोनेशिया, मलेशिया, मालदीव, मिस्र, नेपाल जैसे देशों और संयुक्त राष्ट्र महासचिव एन्टोनियो गुटेरेस भी इस सम्मेलन में शामिल होंगे।

महत्वपूर्ण दस्तावेज़ और रणनीतियाँ:
सम्मेलन के दौरान “Tianjin Declaration” का हस्ताक्षर होगा, साथ ही SCO की 2035 तक की रणनीति व बृहद 10-वर्षीय योजना को मंज़ूरी दी जाएगी। लगभग 20 रणनीतिक दस्तावेज़ों पर हस्ताक्षर होने की संभावना है।

(SCO Shikhar Sammelan 2025)द्विपक्षीय वार्ता:
इस सम्मेलन के दौरान द्विपक्षीय वार्ताएं भी होंगे जिसमें पीएम नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति पुतिन, पीएम नरेंद्र मोदी और शी जिनपिंग की मुलाकात सबसे महत्वपूर्ण होंगी। इस वार्ताओं में आतंकवाद विरोधी एवं आर्थिक पहलुओं पर चर्चा की उम्मीद है, जो द्विपक्षीय संबंधों में सौहार्द की नींव रख सकती हैं।

ग्लोबल साउथ का एकता का मंच:
यह सम्मेलन (SCO Shikhar Sammelan 2025)एक अवसर है “ग्लोबल साउथ” राष्ट्रों के एकजुट होने का, खासकर वैश्विक राजनीतिक और आर्थिक शक्ति समीकरणों में पश्चिमी प्रभुत्व को चुनौती देने का। SCO का एजेंडा अब केवल सुरक्षा नहीं, बल्कि व्यापार, ऊर्जा, सांस्कृतिक रणनीतियों और एकाधिक ध्रुवीय विश्व व्यवस्था तक फैला है।

भारत के लिए क्यों ख़ास है ये सम्मेलन ?

SCO Shikhar Sammelan 2025:-भारत के लिए ये सम्मेलन बहुत ख़ास है और खासकर तब जब भारत और अमेरिका के बीच रिस्तों में तनाव आया है। ट्रम्प ने भारत पर हाल ही में 50% टैरिफ की घोषणा की थी जो 27 अगस्त से लागू हो गए है। इस बीच ट्रम्प के सलाहकार और उनके सहयोगी भारत पर लगातार बयान दे रहे है, जिससे रिश्ते और तनावपूर्ण बनते जा रहे हैं। इसी को देखते हुआ भारत SCO के इस सम्मेलन के जरिये अमेरिका पर दबाव बनाना चाहता है।

अंत में निष्कर्ष:

31 अगस्त से 1 सितंबर 2025 तक तियानजिन (चीन) में आयोजित SCO शिखर सम्मेलन(SCO Shikhar Sammelan 2025) सिर्फ एक राजनयिक कार्यक्रम नहीं, बल्कि वैश्विक शक्ति संतुलन, तकनीकी नवाचार, आर्थिक साझेदारी और “ग्लोबल साउथ” की आवाज का प्रतीक बनकर उभर रहा है।

SCO शिखर सम्मेलन 2025 कब और कहाँ होगा?

SCO शिखर सम्मेलन 2025, 31 अगस्त से 1 सितंबर 2025 तक चीन के तियानजिन शहर में आयोजित होगा।

SCO में कौन-कौन से देश शामिल हैं?

इसमें भारत, चीन, रूस, पाकिस्तान, ईरान, कज़ाखस्तान, उज्बेकिस्तान, ताजिकिस्तान, किर्गिस्तान और बेलारूस आदि देश शामिल हैं।

SCO का पूरा नाम क्या है और यह क्यों बना था?

SCO का पूरा नाम शंघाई सहयोग संगठन (Shanghai Cooperation Organisation) है। यह 2001 में क्षेत्रीय सुरक्षा, आतंकवाद-निरोध और आर्थिक सहयोग के लिए बनाया गया था।

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